" alt="" aria-hidden="true" /> अयोध्या। श्रीरामलला विराजमान अपने नये अस्थाई मंदिर में 10किलो चांदी से बनाये नये सिंहासन में भगवान रामलला विराजमान होंगे। इसके लिये सिंहासन को जयपुर में बनकर तैयार हुआ है। यह सिंहासन अयोध्या के पूर्व राजपरिवार के उत्तराधिकारी विमलेन्द्र मोहन मिश्र श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के हवाले करेंगे। यह सिंहासन उन्होंने ही बनवाया है।
रामलला गुड़ी पड़वा के दिन सुबह अस्थाई मंदिर में विराजमान होंगे
अभी रामलला लकड़ी के बने सिंहासन में 1992 में विराजमान हैं। ट्रसट की ओर से सचिव चम्पतराय इस सिंहासन को रिसीव करेंगे। 27 वर्षो केबाद टेन्ट से बाहर निकलकर रामलला 25 मार्च को गुड़ी पड़वा के दिन सुबह अस्थाई मंदिर में विराजमान होंगे। इस प्रक्रिया को वैदिक रीति से पूरा करने की रस्में सोमवार की सुबह से शुरू हो गयी। अस्थाई राममंदिर और टेंट दोनों जगहों पर आचार्यो के दल पूजन करा रहे हैं। यह प्रक्रिया श्री रामलला के नये अस्थाई मंदिर में विराजने तक जारी रहेगी। 25 मार्च को तड़के उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ नये अस्थाई मंदिर में श्री रामलला का अभिषेक करेंगे। पूजन प्रक्रिया के लिये देश के अलग अलग हिस्सों से 15 आचार्य मौजूद हैं। हर समारोहों में अधिक भीड़भाड़ में नहीं होगा।